भू-माफिया की लिस्ट में शामिल हो सकते हैं आजम खान- Loktantra Ki Buniyad

रामपुर: दो दर्जन से भी अधिक मामलों में फंसे समाजवादी पार्टी (एसपी) नेता और सांसद आजम खान अपने राजनीतिक जीवन के सबसे कठिन दौर से गुजर रहे हैं। पिछले कुछ समय में उनके खिलाफ कई आपराधिक मामले दर्ज किए गए हैं, लेकिन उनकी मुसीबत सिर्फ यहीं तक सीमित नहीं हैं। एसपी नेता के पैतृक शहर रामपुर का जिला प्रशासन अब राज्य सरकार के ऐंटी-भू माफिया पोर्टल पर आजम खान को भूमि माफिया के रूप में सूचीबद्ध करने पर विचार कर रहा है। आजम खान और उनके एक सहयोगी के खिलाफ 26 किसानों की 5 हजार हेक्टेयर जमीन हड़पकर मोहम्मद अली जौहर विश्वविद्यालय के निर्माण में इस्लेमाल करने का संगीन आरोप है। रामपुर के अजीम नगर पुलिस थाने में यूपी के राजस्व विभाग ने बीते शुक्रवार को आजम और उनके सहयोगी अलेहसन खान नाम के एक पूर्व पुलिस अधिकारी के खिलाफ एफआईआर दर्ज कराई है। बता दें कि उत्तर प्रदेश में 2017 में सत्ता संभालने के तुरंत बाद ही मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भू-माफिया की पहचान करने और जमीन कब्जाने से संबंधित लोगों की शिकायत दर्ज कराने के लिए इस पोर्टल की शुरुआत की थी। आजम के खिलाफ 30 से ज्यादा मामले दर्ज पुलिस के अनुसार, नवनिर्वाचित लोकसभा सदस्य आजम खान के खिलाफ 30 से भी ज्यादा मामले दर्ज हैं। इनमें सबसे ज्यादा मामले सरकारी जमीन और गरीबों की जमीन हथियाने के हैं। रामपुर के पुलिस अधीक्षक अजय पाल शर्मा ने बताया कि जमीन हथियाने के कई मामलों को ध्यान में रखते हुए आजम खान का नाम ऐंटी-भू माफिया पोर्टल में सूचीबद्ध करने पर विचार किया गया है। उत्तर प्रदेश के आईपीएस अधिकारी अजय पाल शर्मा ने बताया, 'जिलाधिकारी और मैं जिले के विभिन्न थानों में आजम खान और उनके सहयोगियों द्वारा जमीन हथियाने को लेकर दर्ज रिपोर्ट (एफआईआर/मामले) पर समीक्षा करेंगे। उसके बाद ही उनके नाम को सरकारी भू माफिया पोर्टल पर सूचीबद्ध करने की सिफारिश की जाएगी।' 26 किसानों की जमीन पर अवैध कब्जे का आरोप इससे पहले शुक्रवार को रामपुर के अजीम नगर पुलिस थाने में राजस्व विभाग द्वारा आजम खान और उनके सहयोही के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई। एफआईआर के अनुसार, आजम खान और उनके करीबी सहयोगी अलेहसन खान नाम के एक पूर्व पुलिस अधिकारी ने कथित तौर पर 26 किसानों से जमीन हड़प ली और इस जमीन का उपयोग एसपी नेता ने अपनी करोड़ों की मेगा परियोजना- मोहम्मद अली जौहर विश्वविद्यालय के निर्माण में किया। राजस्व विभाग की एफआईआर के बाद रामपुर के 26 किसान, जिन्हें कथित रूप से जाली भूमि बिक्री विलेख पर हस्ताक्षर करने के लिए प्रताड़ित किया गया था, अब अलग-अलग एफआईआर दर्ज कराएंगे। राजस्व विभाग ने दर्ज कराई शिकायत राज्य के राजस्व विभाग की शिकायत में यह भी कहा गया है कि गरीब किसानों की जमीन हड़पने में अपने पद (उत्तर प्रदेश के कैबिनेट मंत्री, 2012-2017 के रूप में) का दुरुपयोग करने वाले आजम खान ने 5 हजार हेक्टेयर की विशाल भूमि पर अवैध रूप से कब्जा कर लिया था। राजस्व अधिकारी ने कहा, ‘यह भूमि नदी किनारे की है, इसका अधिग्रहण नहीं किया जा सकता है। हालांकि, राजस्व रेकॉर्ड जाली थे और बाद में कई सौ करोड़ की यह जमीन जौहर अली विश्वविद्यालय के रूप में अवैध रूप से हथिया ली गई।’ अधिकारी के अनुसार, नदी के किनारों पर कब्जा करने के लिए व धोखाधड़ी करने के उद्देश्य से बनाए गए जाली दस्तावेज, आजम खान के खिलाफ मजबूत सबूत के तौर पर उपलब्ध हैं। आजम खान के खिलाफ जमीन हड़पने की कई शिकायतें दर्ज पुलिस सूत्रों ने कहा कि आजम खान या उनके सहयोगियों द्वारा जमीन हड़पने के अन्य मामलों से संबंधित कई शिकायतें रामपुर पुलिस अधीक्षक को मिली हैं। इस बीच, आजम खान के समर्थकों का कहना है कि उनके नेता को जानबूझकर निशाना बनाया जा रहा है क्योंकि वह जिले में विपक्ष की एकमात्र आवाज हैं और सांसद के तौर पर मोदी सरकार की कड़ी आलोचना करते रहते हैं। लखनऊ में एक एसपी के पदाधिकारी ने कहा, ‘उनके (आजम खान) खिलाफ कार्रवाई उचित नहीं है। उन्होंने अपने निजी इस्तेमाल के लिए कोई जमीन नहीं ली।’
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