नई दिल्ली
:रमजान के बाद जम्मू और कश्मीर में आतंकियों के खिलाफ ऑपरेशन को लेकर केंद्र सरकार ने अब तक कोई फैसला नहीं लिया है। एक दिन पहले गृह मंत्री राजनाथ सिंह ने ऑपरेशन स्थगित रहने के दौरान हालात की समीक्षा की थी। अब गृह मंत्री शुक्रवार शाम करीब साढ़े सात बजे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को जम्मू-कश्मीर के हालात की जानकारी देंगे। माना जा रहा है कि इस मुलाकात के बाद सीजफायर पर अंतिम निर्णय लिया जा सकता है।
इस बीच, केंद्रीय गृह राज्य मंत्री हंसराज अहीर ने कहा है कि रमजान के दौरान जम्मू और कश्मीर में सीजफायर के अच्छे परिणाम मिले हैं। इसे आगे बढ़ाने या नहीं बढ़ाने पर सरकार जल्द फैसला करेगी। केंद्रीय मंत्री ने कहा, 'सीजफायर को लेकर ऊपर के स्तर पर फैसला होगा। आम लोग सरकार के इस फैसले से काफी खुश थे। हालांकि पाकिस्तान और आतंकी संगठनों को यह रास नहीं आया।'
उन्होंने यह भी कहा कि सीजफायर सीमा पर होता है, देश के अंदर ऑपरेशन सस्पेंड किया गया था। केंद्रीय मंत्री ने आगे कहा कि देश की सीमाओं की सुरक्षा के लिए जो भी बेहतर होगा, सरकार वही करेगी। उधर, कांग्रेस के नेता गुलाम नबी आजाद ने कहा है कि इतिहास गवाह है एकतरफा सीजफायर कभी भी कामयाब नहीं हुआ है।
कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ने कहा कि हम आतंकियों की दया पर एकतरफा सीजफायर नहीं कर सकते हैं और उन्हें निहत्थे लोगों की हत्या करने की खुली छूट नहीं दे सकते हैं। अब राज्य और केंद्र सरकार को तय करना है कि एकतरफा या दोतरफा सीजफायर करना है।
जानेमाने पत्रकार शुजात बुखारी और सेना के जवान की हत्या के बाद देशभर में एकतरफा सीजफायर पर बहस शुरू हो गई है। शुक्रवार को भी श्रीनगर में पुलिसकर्मियों को निशाना बनाकर हमला किया गया, जिसमें 2 पुलिसकर्मी घायल हो गए।
आपको बता दें कि केंद्र सरकार ने कश्मीर घाटी में शांति बहाली की दिशा में 15 मई को जम्मू-कश्मीर में एकतरफा सीजफायर की घोषणा की थी। हालांकि इस फैसले के बाद भी सरकार ने सुरक्षाबलों को आतंकी हमलों की स्थिति में मनचाही कार्रवाई की छूट दे रखी थी। इस दौरान कई आतंकी वारदातें भी हुई हैं।
सूत्रों का कहना है कि सरकार सीजफायर के साथ सेना के हाथ बांधना नहीं चाहती है। माना जा रहा है कि ईद पर सीजफायर की मियाद खत्म होने के बाद घाटी में सेना एक बार फिर आतंकियों के खिलाफ ऑपरेशन शुरू कर देगी। एक न्यूज चैनल से बातचीत में राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल ने कहा कि हम रमजान के दौरान घाटी में आम आदमी को राहत देना चाहते थे ताकि वे इस पवित्र महीने में शांतिपूर्वक अपने काम कर सकें। लोग इससे खुश हैं और हमारा उद्देश्य पूरा हो गया है।
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कश्मीर में सीजफायर को लेकर शुक्रवार को पीएम मोदी से मिलेंगे राजनाथ सिंह-/rajnath-singh-to-meet-prime-minister-narendra-modi
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