पाकिस्तान की रजामंदी से जम्मू कश्मीर के विवादित एरिया में घुस सकती हैं चीन की सेना - doklam standoff chinese army military parade on plas 90th anniversary

नई दिल्ली: चीन से बातचीत के जरिए सीमा विवाद सुलझाने का भारत का एक और प्रयास विफल हो गया है. ब्रिक्स देशों के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकारों की बैठक में भाग लेने पहुंचे भारत के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार ( NSA) अजीत डोभाल और चीन के राष्ट्रपति शी चिनफिंग के बीच डोकलाम मुद्दे को लेकर हुई बातचीत बेनतीजा रही. डोकलाम को लेकर पिछले 2 महीने से भारत और चीन के बीच गतिरोध बना हुआ है. इससे इतर चीनी सेना शक्ति प्रदर्शन से बाज नहीं आ रही है. चीनी सेना की 90वीं सालगिरह से 2 दिन पहले चीन ने परेड कर अपनी ताकत दिखाई. उत्तरी चीन के झुर्येई ट्रेनिंग बेस में चीनी सेना ने रविवार को सैन्य परेड किया.


सैन्य परेड के मौके पर चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग, कम्युनिस्ट पार्टी के केंद्रीय समिति के जनरल सचिव और केंद्रीय सैन्य आयोग के अध्यक्ष ने सैनिकों का निरीक्षण किया और भाषण दिया. चीनी सेना 1 अगस्त को अपनी 90वीं सालगिरह मनाएगी. 1000 वर्ग किलोमीटर से अधिक कवर करने वाला झुर्येई एशिया का सबसे बड़ा ट्रेनिंग बेस है.


इससे पहले चीनी सेना भारत सीमा से सटे तिब्बत के इलाके में बड़े पैमाने पर सैन्य अभ्यास करती देखी गई थी. इतना ही नहीं चीनी मीडिया ने इस घटना का वीडियो जोर-शोर से प्रचारित किया था. चीनी मीडिया ने कहा, हमारी सेना कश्मीर में घुस जाएगी: डोकलाम के मुद्दे परचीन ने अब एक नई चाल चली है. चीन के सरकारी अखबार ने गुरुवार को लिखा था कि डोकलाम का मसला चीन-भूटान सीमा विवाद है. इसमें भारत को तीसरे पक्ष के रूप में दखल देने का कोई हक नहीं है.


अखबार ने आगे लिखा है कि नई दिल्ली के हिसाब से उसका यह तर्क है तो उसके लिए खतरनाक होगा क्योंकि कश्मीर के मसले पर पाकिस्तान कहेगा तो चीन की सेना वहां के विवादित एरिया में घुस जाएगी जिसमें जम्मू- कश्मीर भी शामिल है. अखबार में यह भी लिखा गया है कि भूटान ने भारत से कई मदद नहीं मांगी है फिर भारत वहां पर टांग अड़ा रहा है. अखबार ने दावा करते हुए  लिखा है कि उसके कूटनीतिक सूत्रों के मुताबिक भूटान को यह पता नहीं भी था कि भारत ने उस इलाके में घुसपैठ कर रखी है.

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