सुप्रीम कोर्ट में उत्तराखंड हाईकोर्ट के मुख्य न्यायाधीश के. एम. जोसेफ की नियुक्ति को सरकारी की तरफ से मंजूरी ना मिलने का मामला अब बढ़ता जा रहा है. केंद्र सरकार ने इस मुद्दे पर सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस दीपक मिश्रा को चिट्ठी लिखी है. सरकार ने कहा है कि सुप्रीम कोर्ट ने जो कोलेजियम सिस्टम के आधार पर जस्टिस के. एम. जोसेफ की नियुक्ति करने को कहा है वह संभव नहीं है. सरकार ने इसके लिए कई तरह के तर्क दिए हैं.
सरकार की ओर से कहा गया कि -
# वरिष्ठता के आधार पर जस्टिस के. एम. जोसेफ का नंबर 42वां है. अभी भी हाईकोर्ट के करीब 11 जज उनसे सीनियर हैं.\# वरिष्ठता के आधार पर जस्टिस के. एम. जोसेफ का नंबर 42वां है. अभी भी हाईकोर्ट के करीब 11 जज उनसे सीनियर हैं.
# कलकत्ता, छत्तीसगढ़, गुजरात, राजस्थान, झारखंड, जम्मू-कश्मीर, उत्तराखंड और कई हाईकोर्ट के अलावा सिक्किम, मणिपुर, मेघालय के प्रतिनिधि अभी सुप्रीम कोर्ट में नहीं है.
# जस्टिस के. एम. जोसेफ केरल से आते हैं, अभी केरल के दो हाईकोर्ट जज सुप्रीम कोर्ट में हैं.
# पिछले काफी समय से सुप्रीम कोर्ट में SC/ST का कोई प्रतिनिधित्व नहीं है.
# कोलेजियम सिस्टम सुप्रीम कोर्ट का ही एक सिस्टम है.
# अगर केरल के ही एक और हाईकोर्ट जज की नियुक्ति की जाती है तो यह सही नहीं होगा.
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जस्टिस जोसेफ सबसे वरिष्ठ नहीं- CJI को सरकार की चिट्ठी modi-government-letter-to-cji-dipak-misra
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